रविवार, 9 जनवरी 2011

व्हाईट होल की परिकल्पना निर्दोष नहीं है .

पहले समझें व्हाईट होल हैं क्या ?
इसे ब्लेक होल का ही दूसरा पहलू पलट या विलोम समझा जाता है जिसका सम्बन्ध विज्ञान गल्प ,फिक्शनल सिनेमा से ज्यादा साइंस जर्नल्स से कम है .जहां ब्लेक होल्स (अन्तरिक्ष की काल कोठरी या अंध कूप )आसपास का सारा पदार्थ हज़म कर जातें हैं जहां इनके शक्ति शाली गुरुत्व की ज़कड़ से फोटोन(प्रकाश का एक क्वांटम )भी मुक्त होकर बाहर नहीं आ पाता है वहीँ व्हाईट होल ऊर्जा और पदार्थ उगलते रहते हैं ।
यहीविशेषता एक दोष के रूप में उभरती है .कालान्तर में व्हाईट होल के आसपास ज़मा पदार्थ अपने ही गुरुत्व तले रौंदा जाकर एक ब्लेक होल की सृष्टि कर सकता है . लिहाजा इसकी अवधारणा सदोष है निर्दोष नहीं है .

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